श्री गणेश जी की आरती | जय गणेश देवा| | Jay ganesha deva | Ganesha aarti |
श्री गणेश जी की आरती
जय गणेश जय गणेश जय गणेश देवा |
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा ||
लड्डुओं का भोग लाडे सन्त करे सेवा || जय गणेश ||
एक दन्त दयावन्त चार भुजा धारी ||
मस्तक सिन्दूर सोहे मूसे की सवारी || जय गणेश ||
अन्धन को आंख देत कोढ़िन को काया ||
बांझन को पुत्र देत निर्धन को माया || जय गणेश ||
लड्डुवन का भोग लगे सन्त करें सेवा ||
हार चढ़ें फूल चढ़ें और चढ़ें मेवा || जय गणेश ||
दिनन की लाज राखो शम्भु सुत वारी ||
कामना को पूरा करो जग बलिहारी || जय गणेश ||
|| श्री गणेश जी की आरती समाप्तः ||
श्री गणेश जी की आरती | जय गणेश देवा| | Jay ganesha deva | Ganesha aarti |
Reviewed by Bijal Purohit
on
12:05 pm
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